September 9, 2025

भारत ने चेनाब नदी पर बने सलाल बांध का एक गेट खोला, जलस्तर नियंत्रण के लिए लिया गया फैसला

भारत ने जम्मू-कश्मीर के रियासी जिले में स्थित सलाल जलविद्युत परियोजना के अंतर्गत बने सलाल बांध का एक गेट सोमवार को खोला। यह कदम चेनाब नदी के जलस्तर को नियंत्रित करने और मानसून से पहले सुरक्षा उपाय सुनिश्चित करने के उद्देश्य से उठाया गया है।

सलाल बांध सामरिक और जलविद्युत दोनों दृष्टि से अहम

सलाल बांध चेनाब नदी पर बना भारत का पहला जलविद्युत परियोजना वाला बांध है, जो भारत और पाकिस्तान के बीच जल बंटवारे के तहत 1960 की सिंधु जल संधि के अंतर्गत आता है। यह बांध जम्मू-कश्मीर के रियासी जिले में स्थित है और इसका संचालन NHPC (National Hydroelectric Power Corporation) द्वारा किया जाता है।

 प्रशासन की अपील नदी किनारे जाने से बचें

स्थानीय प्रशासन ने इस गेट को खोलने से पहले लोगों को अलर्ट किया था और आसपास के गांवों व इलाकों में सतर्कता बरतने की सलाह दी गई थी। प्रशासन ने कहा  चेनाब का जलस्तर बढ़ सकता है, इसलिए नदी किनारे रहने वाले लोग सतर्क रहें और बच्चों को नदी के पास न जाने दें।

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 भारत का अधिकार और सावधानीपूर्वक कदम

सलाल बांध से पानी छोड़ना भारत का अधिकार है और यह पूरी तरह से सिंधु जल संधि के नियमों के अंतर्गत है। विशेषज्ञों का मानना है कि मानसून से पहले पानी छोड़ना एक तकनीकी और आवश्यक प्रक्रिया है, जिससे बांध की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके और संभावित बाढ़ से निपटने की तैयारी रहे।

पाकिस्तान की प्रतिक्रिया का इंतज़ार

हालांकि अभी तक पाकिस्तान की तरफ से इस कदम पर कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं आई है, लेकिन अतीत में ऐसे मौकों पर पाकिस्तान ने कई बार चिंता जताई है। गौरतलब है कि चेनाब नदी पाकिस्तान के लिए एक महत्वपूर्ण सिंचाई स्रोत है।सलाल बांध का गेट खोलना एक पूर्व नियोजित और तकनीकी रूप से आवश्यक कदम है, जिसका उद्देश्य जल स्तर को नियंत्रित रखना और संभावित बाढ़ से पहले तैयारी करना है। इससे भारत की जल प्रबंधन क्षमता और संरचनाओं की उपयोगिता एक बार फिर साबित होती है।

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