पंजाब से एक ऐसी दिल दहला देने वाली खबर सामने आई है जिसने पूरे देश को हिला दिया है। ज़रा सोचिए, वही पिता जो बेटी के लिए सबसे बड़ी ढाल होता है, वही अपने ही हाथों बेटी का सबसे बड़ा दुश्मन बन गया। आरोप है कि इस शख्स ने अपनी बेटी के हाथ बांधकर उसे बेरहमी से नहर में धकेल दिया।
कारण और समाज की सोच
क्या वजह थी? सिर्फ इतना कि उसे शक था कि उसकी बेटी का किसी से प्रेम संबंध है। यह मामला सीधे ‘ऑनर किलिंग’ की ओर इशारा करता है। समाज के नाम पर, अपनी इज्ज़त बचाने के नाम पर, एक मासूम की जिंदगी छीन लेना क्या इसे इज्ज़त कहा जा सकता है? या यह समाज की सबसे बड़ी शर्म है?
पुलिस और जांच की स्थिति
स्थानीय लोगों ने तुरंत पुलिस को सूचना दी, और मामला अब जांच के घेरे में है। पुलिस ने फिलहाल आरोपी पिता को हिरासत में लिया है और घटनास्थल का निरीक्षण किया है। हालांकि यह मामला सिर्फ एक परिवार की त्रासदी नहीं है, बल्कि पूरे समाज के लिए आईना है।
बेटियों का जीने का अधिकार
हर बेटी को जीने का हक है, अपने फैसले लेने का हक है। लेकिन जब घर ही उसकी कब्रगाह बन जाता है, तो सवाल उठता है—बेटियाँ सुरक्षित कहाँ होंगी? ऑनर किलिंग जैसी घटनाएँ समाज में डर और असुरक्षा की भावना पैदा करती हैं। ये सिर्फ व्यक्तिगत अपराध नहीं, बल्कि पूरे समाज की सोच पर चोट हैं।
समाज और कानून की जिम्मेदारी
यह घटना हमें याद दिलाती है कि केवल समाज की रूढ़िवादी सोच को बदलना ही पर्याप्त नहीं है। कानून को भी ऐसे अपराधों पर सख्त कार्रवाई करनी होगी। ऑनर किलिंग, घरेलू हिंसा और महिलाओं के खिलाफ अन्य जघन्य अपराधों के लिए कठोर कानून और सख्त सजाएं जरूरी हैं।

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